Saturday, July 4, 2020

चीन का हुआ नुकसान। भारत में भी हुआ असर। बॉयकॉट चाइनीज़ ऐप्स और प्रोडक्ट्स।


जी हां भारत मैं  टिक टोक बेन हो गया हैं। चीन ने धोके से 15 जून को हमारे भारत  के निहत्ते  जवानो को शहीद कर दिया था और भारत और चीन के लद्दाक बॉर्डर की स्तिथि को देख कर हर हिंदुस्तानी गुस्से मैं हैं और उसे नहीं समझ आ रहा हैं की वो अपना गुस्सा कहा निकाले। जब तक वो सोच रहे थे तब तक देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सामने आकरआत्मनिर्भर अभियान के तहत चीन से  डिजिटल वॉर का ऐलान कर दिया हैं और साथ ही साथ वो लेह और लद्दाक  भी गए। और वह पीएम नरेंद्र मोदी ने जवानो को सम्भोधित करते हुए कहा कि जब देश की रक्षा आपके हाथों में है, आपके मजबूत इरादों में है, तो सिर्फ मुझे ही नहीं बल्कि पूरे देश को अटूट विश्वास है और देश निश्चिंत भी है, आपकी भुजाएं, उन चट्टानों जैसी मजबूत हैं, जो आपके इर्द-गिर्द हैं। आपकी इच्छा शक्ति आस पास के पर्वतों की तरह अटल हैं।  ये कहकर जवानो की सराहना करी। पिछले दिनों भारत मैं चीन के मोबाइल ऐप्स  पर बेन लगाने से शुरुवात की हैं और उन्होंने चीन के 59 मोबाइल ऐप्स पर बेन लगा भी  दिया है।  इनमे से टिक टोक और वी चैट वो ऐप है जिसके भारत मैं सबसे ज्यादा यूजर थे । अगर बात भारत की करें तो चीन के लिए यह एक बड़ा मार्केट हैं। यहां के लोग हेलो, लाइकी, वीगो, टिकटॉक, यूसी ब्राउजर जैसे ऐप को खूब इस्तेमाल करते हैं, जिससे चीन की काफी कमाई होती है। हालांकि, इन ऐप के जरिए बहुत सारे भारतीयों को भी नौकरी मिली हुई है और बहुत सारे लोगों के लिए ये ऐप कमाई का जरिया भी बन चुके हैं। लोग अपने वीडियो बनाकर उनके जरिए पैसे कमा रहे हैं। यानी चीन के साथ-साथ भारत के बहुत से लोगों को भी इससे बड़ा नुकसान होगा। 



बॉलीवुड के बड़े बड़े सेलेब्रिटीज़ से लेकर गांव तक ये मोबाइल ऐप्स युवाओ मैं काफी प्रचलित हैं । चीनी कंपनी बाइटडांस का ये प्रोडक्ट भारत में करीब 11.9 करोड़ लोग इस्तेमाल करते हैं। इसके बैन होने से चीन को तो नुकसान होगा ही, लेकिन बहुत सारे भारतीयों के लिए भी टिकटॉक कमाई का जरिया बन चुका है।  भारत मैं  टिक टोक यूसर्स हर महीने की दर से दोगुने हो रहे थे।  और तो और बॉलीवुड सेलेब्रिटीज़ ने भी इससे लॉकडाउन लाखो करोडो रुपये कमाए । चीन को छोड़कर बाकी दुनिया में यूसी ब्राउज (UC Browser) को करीब 1.1 अरब लोगों ने डाउनलोड किया हुआ है। आपको बता दें इसमें करीब आधा हिस्सा सिर्फ भारत का है। यानी भारत में करीब 50 करोड़ यूजर्स चीन के यूसी ब्राउजर को इस्तेमाल करते हैं। आपको जानकर हैरानी हो सकती है कि इस समय भारत में स्मार्टफोन यूजर्स की संख्या 50 करोड़ से कुछ अधिक है। यानी ये कहना गलत नहीं होगा कि बहुत ही कम ऐसे मोबाइल हैं, जिनमें यूसी ब्राउजर नहीं है। चीन ने पुरे विश्व मैं अपना रूप धोकेबाज़ का बना लिया हैं और वो सही भी हैं क्योकि भारत मैं चीन बिज़नेस का झूट बोल कर अपने पैर पहले से ही पसारने शुरू कर  दिए थे।   क्योकि चीन हर तरह के अपने सामान की बिक्री भारत मै  करता था वो चाहे शूज हो, बच्चे के खिलोने हो या कोई भी इलेक्ट्रॉनिक सामान सब जगह ये घुसे हुए हैं । भारत की मोबाइल ऐप कम्पनिया भी काफी खुस दिख रही है क्योकि जिस दिन से चाइनीस मोबाइल ऐप्स  पर बेन लगा हैं भारतीय मोबाइल ऐप्स कम्पनियाँ के यूसर्स तेज़ी से बढ़ते देखे गए हैं। उनके पास सारे ऑप्शन उपलब्ध है और जिसके नहीं उसके बनाने मैं  लग गए हैं। तो हमारा भी फ़र्ज़ हैं की चाइनीज़ ऐप्स और प्रोडक्ट्स का बहिस्कार करे क्योकि हमारे जवान बॉर्डर गोलियां खा रहे है तो हम यहाँ जो कुछ कर सकते हैं तो करेंगे।   

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